मनीषा झा, खड़गपुरः- लिट्टी चोखा बिहार, झारखंड व पूर्व उत्तर प्रदेश का प्रमुख भोजन है। यह भोजन ठंड के मौसम में खाया जाता है। लिट्टी आटे के गोले में मसाले युक्त सत्तू भर कर बनाया जाता है और गाय के गोबर के गोयठे या उपले या कंडे पर पकाया जाता है। लिट्टी के साथ आलू, बैगन, टमाटर से बने चोखे एवं टमाटर की चटनी के साथ खाया जाता है। दक्षिण पूर्व रेलवे मजदूर संघ के जोनल कार्यालय में कार्यकर्त्ताओं के बीच एक लिट्टी चोखा कार्यक्रम का आयोजन किया गया था।
लगभग एक सौ कार्यकर्ताओं ने लिट्टी चोखा कार्यक्रम में उपस्थित हुए थे। इस अवसर पर आई आई टी खड़गपुर में कार्यरत हिंदी अधिकारी व हिंदी कवि डॉ. राजीव कुमार रावत, भारतीय मजदूर संघ के उपाध्यक्ष एम. पी. सिंह, हिंदी अधिकारी राजेन्द्र दूबे, कवि अभिनंदन गुप्ता एवं वेद प्रकाश मिश्र उपस्थित थे। अन्य यूनियन पदाधिकारियों में अजय कर, बलबंत सिंह, मनीष चंद्र झा, पी. के. कुंडु, ओम प्रकाश यादव, पी. के. पात्रो, मनोज कुमार यादव, प्रकाश रंजन आदि उपस्थित थे।
एक तरफ लिट्टी बनाने का कार्यक्रम जोर शोर से चल रहा था। सभी रेलवे कर्मचारियों ने मिलजुल कर लिट्टी चोखा बनाया। अमरजीत, मनोज यादव, प्रकाश रंजन, वेद प्रकाश तथा अनेक अध्यापकों का भी इसमें महत्वपूर्ण योगदान था। इस मौके पर कवियों ने अपनी लच्छेदार कविताओं से महफिल में समां बांध दिया। इस तरह के कार्यक्रम लोगों में सोहार्द्र का वातावरण तैयार करता है क्योंकि इस कार्यक्रम में बिहार और उत्तर प्रदेश के लोगों के अलावा आंध्र प्रदेश, उड़ीसा, पंजाब आदि के लोग भी शामिल हुए थे। सभी लोगों ने इस कार्यक्रम का जमकर लिट्टी चोखा का लुत्फ उठाया तथा साथ ही साथ लिट्टी चोखा व्यंजन बनाने की विधि से भी रूबरू हुए।
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