उड़ीसा सीमांत में फंसे बंगाल का लोगों को खड़गपुर लाया गया, बंगाल से दक्षिण भारत इलाज के लिए गए थे लोग

                             रघुनाथ प्रसाद साहू
खड़गपुर। कोरोना को लेकर उड़ीसा व बंगाल की सीमा सील होने के कारण एक राज्य के लोगों को दूसरे राज्य में आवागमन अब दुरुह हो गया है। अभी तक बंगाल से उड़ीसा आए लोगों में से कुल 1500 लोगों को क्वारनटाईन में रखा गया है एवं उनका टेस्ट करवा रही है.उड़ीसा सरकार। कोरोना के संक्रमित लोगों की बढ़ोतरी के मद्देनजर सरकार ने बालेश्वर सहित पड़ोसी भद्रक एवं जाजपुर जिले में 60 घंटों का शटडाउन लागू किया है शनिवार को दूसरे दिन दुकानें बंद रहीं उड़ीसा पुलिस  राष्ट्रीय राजमार्ग किनारे स्थित थाने विशेष रुप से सक्रिय देखे गए हैं। राजमार्ग पर चलने वाली गाड़ियों की चेकिंग की जा रही है एवं गैरकानूनी रूप से राज्य में जैसे किसी को प्रवेश न करने दिया जाए उसका विशेष ध्यान रखा जा रहा है. पुलिस की गाड़ियां लगातार सभी जगह पेट्रोलिंग करती नजर आई एवं लोगों को घर के अंदर ही रहने के लिए निवेदन करते हुए देखा गया

इधर दक्षिण भारत इलाज के लिए गए बंगाल के लोगों को उड़ीसा व बंगाल के सीमा से बंगाल पुलिस वापस ला रही है पता चला है कि लगभग 600 लोगों को वापस लाया गया व आईआईटी खड़गपुर के बलरामपुर स्थित नवनिर्मित अस्पताल मे रखा गया व चेक करा कर इनलोगों को वाहन से उत्तर बंगाल, हुगली व अन्य जगहों  में इन लोगों का घर भेजा जा रहा है। खड़गपुर के एसडीपीओ सुकमल कांति दास का कहना है कि दांतन इलाके में इन लोगों को रोका गया था यये लोग चेन्नई के अपोलो हॉस्प्टिल गये थे पर लाकड़ाउन के कारण वे  वहां  फस गये  थे. वे लोग वहाँ  से  एम्बुलेंस के द्वारा  अपने  परिजन  को लेकर वापस आये।  पश्चिम मेदिनीपुर जिला प्रशासन और पश्चिम मेदिनीपुर जिला पुलिस ने उनकी मदद के लिएअपना हाथ बढ़ाया और नवनिर्मित आईआईटी अस्पताल में आश्रय दिया गया उन्होने रोगियों के लिए दवाइयों, बर्फ और ऑक्सीजन की खरीद कर फंसे हुए लोगो की सहायता के लिए स्वंयसेवकों की प्रशंसा की।


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