पश्चिम मेदिनीपुर जिले के क्लेक्टरेट में डीएम खुर्शीद अली कादरी की जनता-दरबार लगी । आम जन अपनी समस्याएं व मांग की अर्जी सुनवाई के लिए लाए . जिलाधिकारी अन्य सभी दफ्तरों के प्रमुख संग दरबार में हाजिर थे . जिलाधिकारी ने कहा – “जनसाधारण की समस्याओं के द्रुत निबटारे के लिए यह कार्यक्रम लिया जा रहा है.”
इस दरबार में एडीएम व नोडल ऑफिसर भी उपस्थित थे . कयास है समस्याओं का निबटारा साथ – साथ ही हो जाएगा . प्राप्त सूचना अनुसार इस दरबार में सौ से अधिक आत्मसमर्पण किए हुए पूर्व माओवादी आए और नौकरी की मांग की . उन लोगों ने कहा – ” माओवादी गतिविधि से जुडकर हम राष्ट्रद्रोह में संबद्ध हो गए थे किन्तु पुनर्वास पैकेज की ऑफर के तहत समर्पण करने के बाद घोषणा अनुसार हमें पैकेज का लाभ मिल नही पा रहा है कृपया प्राप्त करने में हमारी सहायता करें.” मालूम हो जंगलमहल में 2006 से 2010 तक माओवादी विघटनकारी गतिविधियां चरम पर थी . पश्चिम मेदिनीपुर जिले के प्रायः 800 लोग इस संत्रास – काल में मारे गए जिसमें किसनजी व शशधर महतो की तरह ही , माओवादी कार्यकलाप में शामिल कई लोग मुठभेड़ का शिकार हुए . फिर राज्य सरकार द्वारा घोषित पुनर्वासन पैकेज के तहत कई माओवादी समर्पण किए . साथ ही सरकार द्वारा यह भी घोषणा की गई कि – ” माओवादी गतिविधियों में कारावास की सजा काटे हुए लोग के लिए भी पुनर्वास पैकेज के अंतर्गत नौकरी की व्यवश्था की जाएगी.” इस योजना में कई लोग नौकरी पाए भी है़ंं . साथ ही कारावास का प्रमाणपत्र न होने व पाने की जटिलताओं के कारण अधिकांश लोग वंचित भी रह गए . मंगलवार को हुए जिलाधिकारी के जनता दरबार में शालबनी इलाके के शताधिक माओवादी अपनी मांग की अर्जी लिए दरबार में पहुंचे और जिलाधिकारी से कहा – ” हम
मे कई लोग नौकरी पाए हैं साथ ही कई लोगों की वेरीफिकेशन हो जाने के बावजूद अब तक नौकरी नही मिली है कृपया व्यवस्था कराएं.” इस संबंध में जिलाधिकारी ने कहा – ” वे लोग जनता दरबार में आए थे . मैं उनका आवेदन जिला पुलिस सूपर को दे दिया हूं . आगे की आवश्यक कार्रवाई की जा रही है.”
नौकरी की मांग के अलावा , फैक्ट्रियों के कारण खड़गपुर में बढ़ते प्रदूषण को , लेकर भी चिंता जाहिर की गई